झारखण्ड के इस जिले में सड़क हादसा, पढ़े पूरी ख़बर

हंसडीहा (दुमका), प्रतिनिधि। दुमका-भागलपुर सड़क पर धावाताड़ गांव के समीप बेकाबू गैस टैंकर में आग लगने से उसकी चपेट में आकर तीन बसें जल गई। इस घटनामें 90 लाख रुपए की क्षति होने की संभावना जताई गई है।

लाइन होटल में खड़ी बसें धू-धूकर जलीं

बम बासुकी लाइन होटल के समीप पहले से चार बसें खड़ी थीं, जो नियमित नहीं चलती हैं। लगन के समय या किसी की मृत्यु होने पर शव यात्रा के लिए आसपास के लोग इन बसों को रिजर्व में ले जाते हैं। गुरुवार को जब गैस टैंकर में आग लगी तो मौके पर मौजूद कुछ लोगों ने जान जोखिम में डाल कर एक बस को ठेल कर कुछ दूर ले गए, जिससे वह एक बस जलने से बच गई। वहीं जो तीन बसे नहीं हटाई जा सकीं, वे जल कर राख हो गईं। बस मालिक रोहित यादव ने बताया कि तीनों बसों के जलने से उन्हें करीब 90 लाख रुपए का नुकसान हुआ है। इसके साथ ही बस बासुकी लाइन होटल का सामान भी जला है। घटना के बाद आसपास के क्षेत्रों में अफरातफरी मच गई थी। आग की लपटों से भयभीत आसपास के लोग अपने-अपने घरों से निकलकर दूर चले गए। इधर हादसा की सूचना मिलते ही हंसडीहा थाना के थाना प्रभारी सुगना मुंडा पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंच गए थे। जरमुंडी के एसडीपीओ शिवेन्द्र और हंसडीहा सर्किल के इंस्पेक्टर नवल किशोर सिंह भी घटनास्थल पर पहुंच कर राहत एवं बचाव कार्य में जुट गए थे। लोगों की भीड़ जमा हो गई थी, जिसे घटनास्थल की ओर जाने से पुलिस ने रोक दिया था। घटनास्थल के दोनों ओर वाहनों की लंबी कतार लग गई थी। करीब तीन घंटे तक इस मार्ग पर आवागमन ठप रहा।

टैंकर और चालक की पहचान नहीं हो सकी
नेपाल ऑयल कारपोरेशन का हो सकता है गैस टैंकर गैस टैंकर के पूरी तरह जल कर चदरा में तब्दील हो जाने और चालक तक का पता नहीं चलने के कारण यह स्पष्ट नहीं हो सका कि गैस यह कहां से कहां जा रहा था। केवल यह पता है कि गैस टैंकर दुमका की ओर से हंसडीहा के तरफ जा रहा था। इधर इस रूट पर चलने वाले अन्य गैस टैंकरों से पुलिस को यह जानकारी मिल रही है कि इस रूट पर एनओसी (नेपाल ऑयल कॉरपोरेशन लिमिटेड) के गैस टैंकरों का परिचालन होता है। एनओसी की गैस टैंकर से एलपीजी हल्दिया(पश्चिम बंगाल) से नेपाल भेजी जाती है। संभावना जताई जा रही है कि यह गैस टैंकर एनओसी का तो नहीं था।

बस मालिक ने किया 90 लाख के नुकसान का दावा
डेढ़ घंटे बाद पहुंची दमकल गाड़ी तो आग पर पाया गया काबू गैस टैंकर और तीन बसों में आग लगने की सूचना मिलते ही दुमका के डीसी रविशंकर शुक्ला के निर्देश पर फायर स्टेशन से दो दमकल गाड़ियों को घटनास्थल पर भेजा गया। आग लगने के करीब डेढ़ घंटे के बाद दुमका से दो दमकल गाड़ियां मौके पर पहुंचीं। तब तक गैस टैंकर पूरी तरह से जल कर नष्ट हो चुका था और तीनों बसें धू-धू कर जल रही थीं। दमकल वाहनों के पहुंचने के बाद आग पर काबू पाया गया। आग के नियंत्रित होने के बाद ही मलबा से जला हुआ शव पुलिस ने बरामद किया। आग इतनी भयानक थी कि गैस टैंकर चदरा में तब्दील हो चुकी थी।

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