मुरादाबाद में चढ़ेगा सियासी पारा, आज अखिलेश तो कल मायावती करेंगी सभा
आने वाले दिनों में मुरादाबाद में सियासी पारा और चढ़ेगा। 2019 के प्रदर्शन को दोहराने की चुनौती के बीच रविवार को सपा के अध्यक्ष आखिलेश यादव तो सोमवार को बसपा प्रमुख मायावती जनसभा करेंगी। सपा ने जनसभा के लिए जीआईसी का मैदान चुना है। वहीं बसपा की जनसभा रामलीला मैदान में होगी।
मुरादाबाद लोकसभा सीट पर पहले चरण में 19 अप्रैल को मतदान होना है। सभी दल इस सीट पर जोर आजमाइश में जुट गए हैं। मुरादाबाद में शुक्रवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने जनसभा को संबोधित किया। उन्होंने सपा के कार्यकाल को गुंडे और माफिया राज बताते हुए लोगों को सतर्क करने को कहा था।
उन्होंने बसपा पर भी आरोप लगाए थे। वहीं शनिवार को सीएम योगी आदित्यनाथ ने बढ़ापुर विधानसभा क्षेत्र में जनसभा की। इससे मुरादाबाद में सियासी तपिश बढ़ने लगी है। अब सपा और बसपा की बारी है। रविवार को पूर्व सीएम अखिलेश यादव शहर के जीआईसी मैदान में जनसभा को संबोधित करेंगे।
जिलाध्यक्ष जयवीर यादव ने बताया कि जनसभा की तैयारी के लिए पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ कांग्रेस सहित इंडिया गठबंधन के अन्य दल भी जुड़ गए हैं। गठबंधन के पदाधिकारियों को अलग अलग जिम्मेदारियां दी गई हैं। कांग्रेस के जिलाध्यक्ष असलम खुर्शीद ने बताया कि पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव अविनाश पांडेय और राष्ट्रीय सचिव प्रदीप नरवाल अखिलेश यादव के साथ मंच साझा करेंगे।
मायावती के लिए रामलीला मैदान में मंच तैयार
बसपा जिलाध्यक्ष डॉ. सुनील आजाद ने बताया कि पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती 15 अप्रैल की सुबह 11.30 बजे आएंगी। यहां मायावती के लिए 40 फीट लंबा और 24 फीट चौड़ा मंच तैयार हो गया है। इस मंच के बगल में वीआईपी के लिए 60 फीट लंबा और 20 फीट चौड़ा दूसरा मंच होगा। कार्यक्रम के लिए पदाधिकारियों को विधानसभावार जिम्मेदारी सौंपी गई है।
अखिलेश बुलाएंगे तो जनसभा में जाऊंगा, अन्यथा नहीं: हसन
टिकट कटने से खफा सपा सांसद डॉ. एसटी हसन ने कहा कि यदि राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव बुलाएंगे तो उनके सम्मान में वह जनसभा में शामिल होंगे। अन्यथा वह जनसभा में नहीं जाएंगे। वहीं सांसद ने नमाजियों पर केस दर्ज होने पर अफसोस जताया।
सपा सांसद ने कहा कि अखिलेश यादव राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं। सांसद को मलाल यह है कि टिकट कटने के बाद उनसे पार्टी के किसी वरिष्ठ पदाधिकारी ने संपर्क नहीं किया। उनको किसी प्रकार की जिम्मेदारी नहीं दी गई। यदि अखिलेश यादव उनके घर आएंगे तो सम्मान करूंगा।
उनके निर्देश का भी पालन किया जाएगा। वे बराबर अनुशासित रहते हुए पार्टी के लिए कार्य किए हैं। वहीं सांसद ने कहा कि यूपी के मेरठ सहित अन्य स्थानों पर प्रशासन ने नमाजियों के खिलाफ केस दर्ज किया है। यह बड़े अफसोस की बात है। हम सभी हिंदुस्तानी धार्मिक हैं।
अपने-अपने धर्म के अनुसार सभी इंसान ईश्वर, अल्लाह की इबादत करते हैं। यदि कोई सड़क पर इबादत करता है तो उसके खिलाफ केस दर्ज नहीं होना चाहिए। ऐसी नफरत ठीक नहीं है। जयपुर राजस्थान में भी भाजपा की सरकार है।
वहां जौहरी मार्केट में हिंदू भाईयों ने नमाज के समय हाईवे बंद कर दिया। लोगों ने नमाजियों पर फूल बरसाए। हिंदुस्तान के लोगों को आपसी भाईचारे के साथ रहने के लिए समझना होगा। अन्यथा देश का बहुत बड़ा नुकसान होगा।