जानिए कैसा है दिल्ली में मौसम का हाल…
दिल्ली-एनसीआर में बुधवार की सुबह भी लोगों को ठंड का एहसास हुआ। मौसम विभाग ने पहले ही शीतलहर को लेकर येलो अलर्ट जारी किया था। सुबह के वक्त राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के कई इलाकों में कोहरा नजर आया। सुबह की शुरुआत कड़कड़ाती ठंड से हुई। बर्फीली हवाओं के चलते दिल्लीवासियों को कड़ाके की सर्दी का सामना कर रहा है। कोहरे का असर विमान और ट्रेनों के परिचालन पर भी पड़ा है। दिल्ली से चलने वाली कई ट्रेनें लेट चल रही हैं। इसके अलावा खराब दृश्यता की वजह से मुंबई, पटना, कोलकाता समेत कई जगहों पर जाने वाली विमानें भी लेट हो गई हैं। हालांकि, गुरुवार से तापमान में इजाफा होने और शीतलहर से राहत मिलने की संभावना है। हल्की बूंदाबांदी होने का अनुमान भी जताया गया है।
18 जनवरी यानी आज दिल्ली में न्यूनतम तापमान 3 डिग्री तो अधिकतम तापमान 23 डिग्री सेल्सियस रह सकता है। मौसम विभाग के मुताबिक, 21 से 25 जनवरी के दौरान उत्तर पश्चिम भारत को ठंड के प्रभावित करने की बहुत संभावना है। हालांकि, 19 जनवरी से दिल्ली के तापमान में मामूली बढ़त देखने को मिल सकती है।
दिल्ली में कड़ाके की ठंड की वजह से बेघरों को मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। कई बेघरों ने शेल्टर होम में पनाह ली है। ठंड के सितम के बीच कुछ लोगों को सरकार से शिकायत है तो कई लोगों को सरकारी व्यवस्था दुरुस्त नजर आया। मिंटो रोड पर कुछ लोगों के एक ग्रुप ने न्यूज एजेंसी एएनआई से बातचीत में कहा कि इस ठंड में सरकार से उन्हें कोई मदद नहीं मिल रही वो खुद को गर्म करने के लिए पारंपरिक तरीके पर निर्भर हैं।
बिहार के रहने वाले एक मजदूर फेजअख्तर आलम ने कहा कि हम मजूदर हैं और हमें काम के दौरान हर वक्त ठंड लगती है। हमारी आर्थिक स्थिति उतनी अच्छी नहीं कि हम कंबल खरीद सकें। हम आग जलाए बिना ठंड से राहत नहीं पा सकते। कभी-कभी हमें सरकार या किसी से कोई मदद नहीं मिलता है। दिल्ली आईटीओ इलाके से जो तस्वीर सामने आई है उसमें नजर आ रहा है कि कुछ लोग ठंड से बचने के लिए आग के पास बैठे हैं।
नवंबर-दिसंबर में नहीं हुई है बारिश
जनवरी के दूसरे सप्ताह मे पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय हुआ था लेकिन उसका प्रभाव कम रहा जिस वजह से दिल्ली-एनसीआर समेत पूरे उत्तर-पश्चिम भारत में नवंबर-दिसंबर में बारिश देखने को नहीं मिली। अगले सप्ताह पश्चिमी विक्षोभ फिर से सक्रिय हो रहा है। इसके सक्रिय होने पर दिल्ली-एनसीआर में बारिश की आशंका जताई जा रही है। दिल्ली-एनसीआर में बारिश हो जाने से मौसम साफ होगा लेकिन तापमान में कमी देखने को मिल सकती है।
पिछले नवंबर-दिसंबर में जमकर हुई थी बारिश
इस साल की सर्दी में भी तक बारिश नहीं हुई है। इसका कारण रहा कमजोर पश्चिमी विक्षोभ। पिछले साल नवंबर-दिसंबर में दिल्ली-एनसीआर में 82 मि.मी. बारिश हुई थी। इस बारिश ने सौ साल से ज्यादा का रिकॉर्ड तोड़ दिया था। इससे पहले 1901 में इतनी बारिश देखने को मिली थी। मौसम विभाग के अनुसार, एक बार फिर से पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय हो रहा है। आने वाले एक-दो दिनों में दिल्ली समेत पूरे उत्तर-पश्चिमी भारत में बारिश के साथ तेज हवाओं की आशंका जताई जा रही है।