राहत: बेसिक गणित पढ़ने वाले 11वीं में ले सकेंगे मैथ्स

केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने दसवीं का रिजल्ट जारी होने के बाद 11वीं में गणित की पढ़ाई करने के इच्छुक छात्रों को राहत प्रदान की है। बोर्ड ने 10वीं में बेसिक गणित की पढ़ाई करने वाले को भी 11वीं में गणित पढ़ने की मिल रही छूट को इस साल भी जारी रखने का फैसला किया है। यह छूट शैक्षणिक सत्र 2024-25 में भी जारी रहेगी। 11वीं में गणित लेने की अनुमति देने से पहले स्कूलों को छात्रों की गणित पढ़ने की योग्यता व क्षमता को देखना होगा।

केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड से संबद्ध स्कूलों में यदि किसी छात्र ने 10वीं में स्टैंडर्ड मैथमेटिक्स की पढ़ाई नहीं की और बेसिक मैथ्स पढ़ा है, तब भी छात्र 11वीं में गणित की पढ़ाई कर सकेंगे। सीबीएसई के परीक्षा नियंत्रक डॉ. संयम भारद्वाज की ओर से इस संबंध में स्कूल प्रमुखों को जानकारी भेजी गई है। स्कूलों को पत्र भेजकर कहा गया है कि वह छात्रों व शिक्षकों को इस संबंध में जानकारी दें। मालूम हो कि बोर्ड ने वर्ष 2019 में 10वीं में दो स्तर के गणित लेने की व्यवस्था शुरू की थी।

10वीं में छात्रों को बेसिक मैथमेटिक्स व स्टैंडर्ड मैथमेटिक्स में से किसी एक का चयन करना होता है। बोर्ड की इस व्यवस्था के अनुसार जो छात्र दसवीं के बाद गणित की पढ़ाई नहीं करना चाहते हैं उन्हें बेसिक मैथमेटिक्स का व जिन्हें 11वीं व 12वीं में गणित की पढ़ाई जारी रखनी होती है उन्हें स्टैंडर्ड गणित का विकल्प चुनना होता है। कोरोना काल से पहले छात्रों को स्टैंडर्ड गणित पढ़ा होने पर ही 12वीं में गणित लेने की अनुमति थी।

बोर्ड ने कोविड महामारी के दौरान दसवीं कक्षा में गणित (बेसिक) की पढ़ाई करने वाले छात्रों को 11वीं व 12वीं में गणित पढ़ने की छूट प्रदान की थी। बोर्ड के अनुसार नई शिक्षा नीति के कारण कई बदलाव प्रस्तावित हैं। ऐसे में सत्र 2024-25 के लिए भी बोर्ड ने विस्तृत विचार-विमर्श के बाद इस छूट को जारी रखने का फैसला किया है। स्कूल बेसिक गणित पढ़ा होने पर भी ग्यारहवीं में छात्रों को गणित लेने की अनुमति दे सकते हैं।

छात्र की गणित पढ़ने की क्षमता का होगा आकलन
अनुमति देने से पहले स्कूल के प्रमुख को संतुष्ट होना चाहिए कि छात्रों में 11वीं में गणित पढ़ने की योग्यता और क्षमता है। इसके साथ ही सत्र 2024-25 के दसवीं कक्षा के छात्रों के लिए यह भी निर्णय लिया गया है कि एक बार एलओसी (लिस्ट ऑफ कैंडिडेट) में छात्र द्वारा भरे गए विषयों में बदलाव करने की अनुमति नहीं दी जाएगी। इसका सख्ती से पालन किया जाएगा। बोर्ड ने यह जानकारी स्कूल प्राचार्यों, शिक्षकों, अभिभावकों और छात्रों को देने को कहा है और एलओसी में विषयों को सावधानीपूर्वक चुनने और भरने की सलाह दी है।

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